बीजिंग: कोरोना वायरस की उत्पत्ति और प्रसार को लेकर चीन की भूमिका संदिग्ध रही है और माना जाता है कि पूरी दुनिया में चीन ने ही यह महामारी फैलाई है. हालांकि चीन अपने ऊपर लगे हर आरोप से पल्ला झाड़ता रहा है. लेकिन एक बार फिर चीन में डेल्टा वेरिएंट की नई सब कैटेगरी ने कोविड को खतरे को बढ़ा दिया है. ओमिक्रॉन के खतरे के बीच डेल्टा के नए वेरिएंट ने दुनिया की चिंता और बढ़ा दी है.
डेल्टा की सब कैटेगरी से दहशत
चीन के झेजियांग प्रांत में हाल ही में कोविड-19 के 138 मामले सामने आए हैं. ये सभी लोग कोरोना वायरस के डेल्टा वेरिएंट की सब कैटेगरी AY.4 से संक्रमित हैं. इसके मद्देनजर अधिकारियों ने पूर्वी प्रांत के लाखों लोगों के बाहर यात्रा करने पर रोक लगा दी है.
सरकारी ‘सीजीटीएन-टीवी’ की खबर के मुताबिक, चीन में पहली बार डेल्टा वेरिएंट के नई सब कैटेगरी के मामले सामने आए हैं. सरकारी समाचार एजेंसी ‘शिन्हुआ’ ने रविवार को अपनी एक खबर में बताया कि झेजियांग प्रांत में पांच से 12 दिसंबर के बीच कोविड-19 के 138 मामले सामने आ चुके हैं.
झेडियांग प्रांत में मिले 138 मामले
प्रांतीय मुख्यालय हांगझोऊ से रविवार को आई एक खबर में बताया गया कि झेजियांग में सामने आए 138 मामलों में से निंग्बो में 11, शाओक्सिंग में 77 और प्रांतीय राजधानी हांगझोऊ में 17 मामले सामने आए हैं.
रोग नियंत्रण एवं रोकथाम के झेजियांग रीजनल सेंटर के एक अधिकारी के हवाले से कहा गया कि फुल जीनोम सीक्वेंसिंग और विश्लेषण के बाद पता चला है, ये सभी कोरोना वायरस के डेल्ट वेरिएंट की सब कैटेगरी AY.4 से संक्रमित हैं. इसे अधिक संक्रामक और मूल कोरोना वायरस से अधिक वायरल लोड वाला बताया गया है.
सामने आए बगैर लक्षण के मरीज
स्थानीय अधिकारियों ने एहतियाती कदम उठाते हुए जनसभाओं और यात्रा पर प्रतिबंध लगा दिए हैं. प्रांत की आबादी करीब 6.46 करोड़ है. सरकारी ‘सीजीटीएन-टीवी’ की खबर में राष्ट्रीय स्वास्थ्य आयोग के आंकड़ों के हवाले से कहा गया कि चीन में रविवार को कोविड-19 के 101 मामले सामने आए. नए 101 मामलों में से 17 लोगों को ही संक्रमण के लक्षण थे.
आयोग ने बताया कि सोमवार को सामने आए 80 मामलों में से 74 झेजियांग, पांच इनर मंगोलिया और एक शानक्सी प्रांत में सामने आए. आयोग के अनुसार, देश में अभी तक कोविड-19 के 99,780 मामले सामने आ चुके हैं और संक्रमण से 4,636 लोगों की मौत हुई है.
देश में अभी 1,381 लोगों का कोरोना वायरस संक्रमण का इलाज चल रहा है, जिनमें से 27 लोगों की हालत गंभीर है.