बिलासपुर। सीएम भूपेश बघेल ने रविवार की सुबह साढ़े 11 बजे कोनी में 120 करोड़ की लागत से बन रहे स्टेट कैंसर इंस्टीट्यूट का वचुर्वल शिलान्यास किया। शिलान्यास करते हुए सीएम बघेल ने कहा कि यह प्रदेश के लिए बड़ी सौगात साबित होने वाला है। इस इंस्टीट्यूट के बन जाने के बाद सभी प्रकार के कैंसर का उपचार इस इंस्टीट्यूट में हो सकेगा, जो बड़ी चिकित्सकीय सुविधा साबित होगा।
सीएम भूपेश बघेल ने वर्चुवल शिलान्यास करते हुए यह भी कहा कि यह इंस्टीट्यूट प्रदेश के ही नहीं बल्कि पड़ोसी राज्यों के मरीजों का भी उपचार कर सकेगा। उन्होंने कहा कि बिलासपुर संभाग के लोग इससे सबसे ज्यादा लाभान्वित होंगे। अब कैंसर के इलाज के लिए किसी को बाहर नहीं जाना पड़ेगा। इस दौरान दौरान सासंद अरुण साव, कलेक्टर डा. सारांश मित्तर, डीन डा. केके सहारे, एमएस डा. नीरज शिंडे, डा. पुनित भारद्वाज, डा. चंद्रहास ध्रुव के साथ बड़ी संख्या में जनप्रतिनिधि और सिम्स के स्टाफ उपस्थित रहे।
सीजीएमएससी करेगा निर्माण
तय समय पर सेंट्रल पीडब्यूडी ने सिम्स सुपर स्पेशलिटी हास्पिटल भवन का निर्माण किया है। वहीं अब स्टेट कैंसर इस्टीट्यूट के निर्माण की जिम्मेदारी सीजीएमएससी को सौंपी गई है। अब आने वाले दिनों में भवन निर्माण का काम शुरू कर दिया जाएगा, जिसे एक साल के भीतर तैयार करना होगा।
मिलेगी यह चिकित्सा सुविधा
– 100 बिस्तरों का अत्याधुनिक कैंसर वार्ड
– 20 बिस्तरों का अत्याधुनिक कैंसर आईसीयू
– सभी प्रकार की निश्शुल्क कीमोथेरेपी (टार्गेटेड, इम्मुनो, मालिक्यूलर, मेट्रोनोमिक)
– अत्याधुनिक रेडियोथेरेपी मशीन से इलाज
– दो लीनियर एक्सेलरेटर
– एक कोबाल्ट ब्रेकीथेरेपी यूनिट
– एक पीईटी स्कैन मशीन
– एक सीटी सिमुलेटर
– एमआरआई जांच
– कैंसर अनुसंधान के लिए सभी अत्याधुनिक प्रसाधन
इन कैंसर रोगों का हो सकेगा उपचार
स्तन कैंसर, सवाईकल कैंसर, मुख एवं गले का कैंसर, फेफड़े का कैंसर, बड़ी आंत एवं गुदा के कैंसर, पेट के कैंसर, यकृत कैंसर, पित्त के थैली का कैंसर, हड्डी के कैंसर, ब्लड कैंसर
आठ साल बाद शुरू हो रहा निर्माण
27 फरवरी 2014 को स्टेट कैंसर इंस्टीट्यूट के लिए केंद्र सरकार ने घोषणा की थी। लेकिन इसे मंजूर होने में पांच साल का समय लग गया। 2019 में इसको अंतिम स्वीकृति दी गई। इसके बाद 2020 में केंद्र ने पहली किस्त के रूप में 51 करोड़ रूपये जारी किया है। वही इसमे की लगने वाली 40 प्रतिशत राशि राज्य सरकार को देना था, लेकिन तय समय पर राशि जारी नहीं किया जा सका। ऐसे में लगभग तीन साल की देरी हो गई।
वहीं कुछ महीने पहले केंद्र सरकार ने साफ किया था कि यदि राज्य सरकार इसके लिए पैसे जारी नहीं करती है तो 51 करोड़ रुपये वापस ले लिया जाएगा। इसके बाद राज्य सरकार ने इसमे में रूचि दिखाई और पिछले दिनों 34 करोड़ 19 लाख स्र्पये जारी किया। वही अब यह संस्थान जल्द ही आकार लेने लगेगा। जिसका फायदा आने वाले दिनों में क्षेत्रवासियों को मिलेगा
शहर विधायक शैलेष पांडेय मुख्यमंत्री के पास रहे मौजूद
आनलाइन कार्यक्रम में स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव, बिलासपुर के प्रभारी मंत्री जयसिंह अग्रवाल भी वर्चुअल रूप से जुड़े। मुख्यमंत्री निवास में विधायक शैलेष पांडेय मौजूद थे। शहर विधायक शैलेष पांडेय ने कहा कि बिलासपुर के लिए ये बहुत गौरव की बात है कि कैंसर जैसी बीमारी का इलाज अब सर्व सुविधा तरीक़े से बिलासपुर में हो सकेगा। मुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री का आभार व्यक्त किया। राज्य कैंसर संस्थान में सभी प्रकार के कैंसर के इलाज की सुविधा एक ही छत के नीचे उपलब्ध होगी। इसमें 100 बिस्तर बिस्तरों वाले अत्याधुनिक कैंसर वार्ड और 20 बिस्तरों का अत्याधुनिक आइसीयू वार्ड की सुविधा उपलब्ध होगी।