मुख्यमंत्री बघेल द्वारा प्रतिबंध के फरमान के बावजूद चल रहा शहर में हुक्का बार

बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ कब तक, दैनिक पहुना की खबर के बाद दो ही जगह पुलिस ने की थी कार्यवाही
दैनिक पहुना राजनांदगांव। संस्कारधानी के नाम से विभूषित इस शहर में कुसंस्कार तेजी से पनप रहे हैं। उनमें से एक है हुक्का जैसा नशा जिसकी चपेट में युवा तो युवा किशोर तक आकर बर्बादी की ओर अग्रसर हो रहे हैं। पहुना ही है जिसने सर्वप्रथम बड़े या लक्झरी होटलों की आड़ में चलने वाले हुक्काबारों की तरफ पुलिस का ध्यान खींचा और पुलिस ने मोहारा रोड और रायपुर की ओर दो होटलों की आड़ में चल रहे अवैध अनैतिक धंधे के खिलाफ छापे की कार्यवाही की भी, लेकिन पुलिस के हाथ शहर के इस बड़े होटल में चल रहे हुक्काबार के विरूद्ध कार्यवाही करने में कांपते हुए ही मालूम पड़ रहे हैं। अब तो सीएम भूपेश बघेल ने भी छत्तीसगढ़ प्रदेश में हुक्काबार पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाने का आदेश दे दिया है। इसके बावजूद भी किसकी शह पर हुक्काबार चलने दिया जा रहा है ?
0- इस जगह बड़े होटल में चल रहा हुक्काबार
प्राप्त जानकारी के अनुसार शहर के अंदर बड़े होटल में चल रहे हुक्का बार की तरफ पहुना ने पुलिस का ध्यान पहले भी खींचा था, लेकिन पुलिस के हाथ कार्यवाही के लिये उन तक पहुंचे ही नहीं, आखिर क्यों? ऐसी ही स्थिति रही तो जिन दो होटलों के हुक्का बारों के विरूद्ध कार्यवाही हुई, उनसे जुड़े ग्राहक क्या इस बड़े होटल में जाकर हुक्का नहीं पी रहे होंगे? पता चला है कि अब तक 13 से 18 साल के लड़के भी हुक्का पीकर अपना जीवन बर्बादी की ओर ले जाने लगे हैं। उक्त संबंध में जिला पुलिस अधीक्षक डी. श्रवण ने कहा था कि वे दिखवा लेंगे, लेकिन इस बड़े होटल में पुलिस के हाथ कार्यवाही के लिये पहुंच ही नहीं रहे हैं। दूसरा यह कि शहर के बीच इस बड़े होटल में होटल संचालक को न किसी के स्वास्थ्य की चिंता है न किसी के जीवन की, उन्हें तो पैसे कमाने भर से मतलब है।
तो क्या कलेक्टर से से की जाये छापे की उम्मीद?
पुलिस को कई बार बताने के बावजूद शहर के उस बड़े होटल में रेड की कार्यवाही नहीं की जा रही है। ऐसे में क्या एसडीएम, कलेक्टर जैसे सक्षम अधिकारियों से उम्मीद की जाये कि वे पुलिस को स्वयं साथ लेकर छापे की कार्यवाही करेंगे?

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