एयरपोर्ट पर जल्‍द मिलने वाली है गहन जांच से मुक्ति, ये तकनीक यात्रियों को देगी बड़ी राहत

नई दिल्‍ली. अगर आप एयरपोर्ट के माध्‍यम से एक शहर से दूसरे शहर अक्‍सर ट्रेवल करते हैं तो यह खबर आपके लिए अहम है. दरअसल, केंद्र सरकार ऐसी तकनीक लाने जा रही है, जिससे एयरपोर्ट पर यात्रियों को सुरक्षा कर्मी द्वारा शारीरिक जांच से मुक्ति मिल जाएगी. नागरिक उड्डयन मंत्रालय से जुड़े सूत्रों ने न्‍यूज18 को इसकी जानकारी दी. उन्होंने बताया कि देश के सभी एयरपोर्ट पर चरणबद्ध तरीके से दो से चार फुल बॉडी स्‍कैनर लगाए जाएंगे. इसके बाद यात्रियों, एयरपोर्ट स्‍टाफ और कैबिन क्रू की शारीरिक जांच केवल दुर्लभ मामलों में ही की जाएगी.

एक अधिकारी ने बताया, ‘एक बार अगर आप फुल बॉडी स्‍कैनर और मेटल डिटेक्‍टर से गुजर जाएंगे तो इसके बाद केवल चुनिन्‍दा लोगों की जांच ही शारीरिक रूप से सुरक्षाकर्मी द्वारा की जाएगी. मौजूदा वक्‍त में हर एक व्‍यक्ति की जांच सुरक्षाकर्मी करता है. एक बार इन मशीनों के लगने के बाद हम विज्ञान को ही फॉलो करेंगे.’ बताया गया कि अगर फुल बॉडी स्‍कैन के बावजूद भी कोई व्‍यक्ति संदिग्ध नजर आता है तभी उसकी गहन जांच शारीरिक रूप से सुरक्षाकर्मी द्वारा होगी.

यह पूछे जाने पर कि सीआईएसएफ के जवान एयरपोर्ट पर आक्रामक और शत्रुतापूर्ण जांच करते हैं तो इसपर अधिकारी ने कहा, ‘जांच आदर्श नहीं होनी चाहिए, लेकिन अगर यह किया जा रहा है तो इसे पूरी तरह से होना चाहिए.’

देश में मौजूद कुल 105 एयरपोर्ट्स में से 28 को अतिसंवेदनशील की श्रेणी में रखा गया है. इसमें दिल्‍ली, मुंबई, कोलकाता जैसे तमाम बड़े शहरों के एयरपोर्ट शामिल हैं. केंद्र सरकार ने पहले देश के 84 एयरपोर्ट को बॉडी स्‍कैनर लगाने का निर्देश दिया था, ताकि बिना मेटल वाली चीजों को भी जांचा जा सके.

साल 2019 में ब्‍यूरो ऑफ सिविल एविएशन अथॉरिटी की तरफ से एक सर्कुलर जारी किया गया था. इसमें कहा गया कि मेटल डिटेक्‍टर से गुजरने वाली मशीन और सुरक्षा कर्मी द्वारा हाथ से इस्‍तेमाल होने वाले उपकरण के माध्‍यम से बिना मेटल वाले हथियार व विस्‍फोटक का पता नहीं चल सकता है. बॉडी स्‍कैनर की मदद से मेटल और नॉन मेटल दोनों चीजों का पता चल जाता है.

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