रायपुर। छत्तीसगढ़ में शराब बंदी की मांग को लेकर भारतीय जनता पार्टी के नेता शुक्रवार को राजभवन पहुंचे. भाजपा महिला सम्मेलन में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के शराब बंदी को लेकर दिए बयान के खिलाफ पारित निंदा प्रस्ताव का मेमोरेंडम राज्यपाल विश्वभूषण हरिचंदन को सौंपा.
भाजपा नेता एवं पूर्व आईएएस गणेश शंकर मिश्रा ने कहा कि कांग्रेस ने अपने जन घोषणा के बिंदु क्रमांक 14 में कांग्रेस ने शराब बंदी का स्पष्ट उल्लेख किया था. उन्होंने छत्तीसगढ़ की तीन करोड़ की जनता को वचन दिया था कि यदि कांग्रेस की सरकार बनती है तो पूरे प्रदेश में शराबबंदी करेंगे. आज सरकार का साढ़े 4 साल का कार्यकाल पूरा हो चुका है, विधानसभा चुनाव में मात्र कुछ ही महीने शेष है. ऐसे में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सभी मीडिया में बार-बार यह बयान दे रहे हैं कि शराबबंदी करना संभव नहीं है.
गणेश शंकर मिश्रा ने कहा कि इस प्रकार से इन्होंने वादाखिलाफी की है, जिसके विरोध में धरसींवा विधानसभा क्षेत्र की लगभग 10 हजार महिलाओं ने 27 मई को मांढर की सभा की थी, जिसमें पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के अलावा पवन साय सहित भाजपा के अन्य नेता उपस्थित थे. सम्मेलन में सभी ने हाथ उठाकर भूपेश बघेल सरकार के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पारित किया था. उसी बात से अवगत कराने राज्यपाल के पास पहुंचे हैं.
पूर्व आईएएस ने बताया कि सरकार की वादाखिलाफी पर राज्यपाल का ध्यान आकर्षित करने के साथ रमन सिंह सरकार में गांव-गांव में शराब की बुराई के खिलाफ काम करने के लिए भारत माता वाहिनी को हर गांव में पंचायत में सक्रिय बनाएं. उन्होंने कहा कि राज्यपाल ने हमारी बात को ध्यान पूर्वक सुना है, इसके साथ उन्होंने आवश्यक कार्रवाई करने का हमको वचन देते हुए मुख्यमंंत्री से बात करने की बात कही है. इसके साथ ही भाजपा नेता ने कहा कि यह पूरे प्रदेश में विधानसभा पहला ऐसा प्रकरण हो रहा है, जिसमें लोगों ने ज्ञापन दिया है.