रेल मंत्रालय ने केंद्रीय कैबिनेट को सौंपे एक प्रस्ताव में ‘इंडिया’ की जगह ‘भारत’ शब्द का इस्तेमाल किया है. रेल मंत्रालय ने यह बदलाव ऐसे वक्त में किया है, जब केंद्र सरकार ‘इंडिया’ की जगह ‘भारत’ नाम को तरजीह दे रही है. तमाम संस्थाएं भी इसे प्रमोट कर रही हैं. रेल मंत्रालय से जुड़े सूत्रों ने टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया कि हमारे संविधान में इंडिया और भारत दोनों नाम का जिक्र किया गया है. ऐसे में कैबिनेट के प्रपोजल में भारत नाम का इस्तेमाल किसी तरीके से गलत नहीं है.
रेल मंत्रालय का यह प्रस्ताव, केंद्रीय कैबिनेट का ऐसा पहला प्रस्ताव है जिसमें इंडिया की जगह भारत शब्द का इस्तेमाल किया गया है. लॉजिस्टिक कॉस्ट से लेकर कारगो और दूसरी चीजों का जिक्र करते हुए, हर जगह भारत शब्द का इस्तेमाल किया गया है. रिपोर्ट के मुताबिक आने वाले दिनों में केंद्र सरकार के तमाम दस्तावेजों में इंडिया की जगह भारत शब्द का इस्तेमाल होता दिखेगा.
NCERT ने दिया है सुझाव
आपको बता दें कि तीन दिन पहले ही राष्ट्रीय शैक्षणिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (NCERT) द्वारा पाठ्यक्रम में संशोधन के लिए गठित उच्चस्तरीय समिति ने सभी स्कूली पाठ्यपुस्तकों में ‘इंडिया’ की जगह ‘भारत’ शब्द के इस्तेमाल की सिफारिश की थी.
समिति के अध्यक्ष सी.आई. आइजक के अनुसार, समिति ने पाठ्यपुस्तकों में ‘इंडिया’ की जगह ‘भारत’ शब्द के इस्तेमाल, ‘प्राचीन इतिहास’ के स्थान पर ‘क्लासिकल हिस्ट्री’ शुरू करने, सभी विषयों के पाठ्यक्रम में भारतीय ज्ञान प्रणाली (आईकेएस) शुरू करने की सिफारिश की. हालांकि, एनसीईआरटी के अध्यक्ष दिनेश सकलानी ने कहा कि समिति की सिफारिशों पर अभी कोई निर्णय नहीं लिया गया है.
G-20 में पहली बार भारत शब्द का इस्तेमाल
भारत नाम पहली बार आधिकारिक तौर पर तब सामने आया जब सरकार ने हाल में नई दिल्ली में हुए जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान ‘प्रेसिडेंट ऑफ इंडिया’ के बजाय ‘प्रेसिडेंट ऑफ भारत’ के नाम से निमंत्रण भेजा था. सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की नाम पट्टिका पर भी ‘इंडिया’ के बजाय ‘भारत’ लिखा गया.