राजनाँदगाँव. नगर पालिक निगम के नेता प्रतिपक्ष ने हाल ही में प्रेस कॉन्फ्रेंस की है जिसमें उन्होंने भाजपा दल के पार्षद जो अब कांग्रेस शामिल हो चुके हैं जिन पर बेबुनियाद आरोप लगाया है जबकि भाजपा पार्षद ने खुले मंच में यह कहा है कि वे छत्तीसगढ़ के यशस्वी मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के कार्यों से योजनाओं से प्रभावित होकर भाजपा को छोड़ा और कांग्रेस का दामन थामा है।
यह चर्चा सरेआम है कि भाजपा अपने पार्षदों को वह सम्मान नहीं दे पा रही है जो पूर्व मुख्यमंत्री वर्तमान विधायक के क्षेत्र में जनप्रतिनिधियों को मिलना चाहिए जबकि पूरे प्रदेश में भाजपा की कमर टूट चुकी है हाल ही में छुईखदान,गंडई में हुए उलटफेर जिसका उदाहरण है ऐसे में भाजपा के लोगों के आरोप की औपचारिकता ही समाप्त हो जाती है।
नेता प्रतिपक्ष ने पार्षद पर जो आरोप लगाया है वह भाजपा का संस्कार हो सकता है पर संस्कारधानी का संस्कार नहीं है, निगम के नेता प्रतिपक्ष को अब अपनी कुर्सी की चिंता करनी चाहिए वर्तमान में नगर निगम राजनांदगांव की महापौर के पास कुल 32 पार्षद हैं और उनके उत्कृष्ट नेतृत्व की सराहना ना केवल नगर निगम में है बल्कि पूरे जिले में हो रही है।
जनता कांग्रेस के पक्ष में हैं और अब विपक्ष के लोग भी प्रदेश सरकार की योजनाओं एवं कार्य से प्रभावित होकर कांग्रेस में शामिल हो रहे हैं, भाजपा केवल झूठे ढोल पीटना जानती है जबकि धरातल की बात कुछ और होती है और वही काम नेता प्रतिपक्ष ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए किया है, इस तरीका से किसी पर आरोप लगाना न्यायसंगत नही है ऐसे में कानूनी कार्यवाही भी हो सकती है।