नई दिल्ली. दिल्ली हाईकोर्ट ने टीवी पत्रकार सौम्या विश्वनाथन की हत्या मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहे चार दोषियों को सोमवार को जमानत दे दी. दिल्ली हाईकोर्ट के जस्टिस सुरेश कुमार कैत और मनोज जैन ने सजा को रद्द कर दिया है.
कोर्ट ने कहा है कि वह पहले ही 14 साल 9 महीने की सजा काट चुके हैं. इसके साथ कोर्ट ने उनकी सजा भी निलंबित कर दी है. जस्टिस सुरेश कुमार कैत की अगुवाई वाली पीठ ने कहा कि उनकी दोषसिद्धि को चुनौती देने वाली अपील के लंबित रहने तक उनकी सजा निलंबित रहेगी.
सौम्या विश्वनाथन मर्डर केस मामले में कोर्ट ने आरोपियों को उम्रकैद की सजा सुनाई थी. इसके बाद दोषी ठहराए गए चार लोग रवि कपूर, अमित शुक्ला, बलजीत सिंह और अजय कुमार ने दोषसिद्धि के खिलाफ हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. कोर्ट ने इस मामले में 23 जनवरी को दिल्ली पुलिस से जवाब मांगा था.
बता दें, 15 साल तक चली सुनवाई के बाद, 18 अक्टूबर को दिल्ली कोर्ट ने चार आरोपियों को दोषी करार दिया था. इन चारों आरोपियों में बलजीत सिंह मलिक, रवि कपूर, अमित शुक्ला और अजय कुमार शामिल थे. इसके अलावा पांचवे आरोपी अजय सेठी को आईपीसी की धारा 411 (बेईमानी से चोरी की संपत्ति प्राप्त करना) समेत अन्य धाराओं के तहत दोषी करार दिया था. कोर्ट ने कहा था कि अभियोजन पक्ष ने वैज्ञानिक साक्ष्यों, गवाहों और कपूर की गवाही के माध्यम से सफलतापूर्वक साबित किया है कि चार लोग विश्वनाथन की हत्या के दोषी थे. इसके बाद नवंबर में कोर्ट ने पांच में से चार आरोपियों को उम्रकैद की सजा सुनाई थी और 1.25 लाख का जुर्माना भी लगाया था.
दिल्ली पुलिस ने कहा था कि सौम्या विश्वनाथन की हत्या के पीछे का मकसद डकैती था. अभियोजन पक्ष के अनुसार, कपूर ने विश्वनाथन को लूटने के लिए उसकी कार का पीछा करते समय देशी पिस्तौल से गोली मार दी. कपूर के साथ अपराध में शुक्ला, कुमार और मलिक भी शामिल थे.
इंडिया टुडे में काम करने वाली पत्रकार सौम्या विश्वनाथन की 30 सितंबर, 2008 को दक्षिणी दिल्ली के नेल्सन मंडेला मार्ग पर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. उस समय वह अपनी कार में आफिस से घर की ओर लौट रही थीं.