राजनांदगांव। कलेक्टर तारन प्रकाश सिन्हा एवं पुलिस अधीक्षक संतोष सिंह ने आज जिला पुलिस अधीक्षक कार्यालय में जिले में संचालित निजी विद्यालयों के बस संचालकों की बैठक लेकर बच्चों की सुरक्षा के लिए सुप्रीम कोर्ट द्वारा जारी गाइडलाइन की जानकारी से विद्यालय संचालकों को अवगत कराया गया। बैठक में कलेक्टर श्री सिन्हा ने कहा कि बच्चे की सुरक्षा प्राथमिकता से होनी चाहिए। बच्चे की सुरक्षा को लेकर किसी प्रकार की कोई भी लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। किसी भी प्रकार से कोई चूक अथवा लापरवाही पाए जाने पर संबंधित के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी। कलेक्टर ने कहा कि बच्चे की सुरक्षा बेहद ही संवेदनशील मुद्दा है। बच्चे की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए उन्हें हर प्रकार से महफूज किया जाना अनिवार्य है। कलेक्टर ने कहा कि बच्चे की सुरक्षा को लेकर जिला प्रशासन के साथ ही पुलिस प्रशासन और निजी विद्यालयों के संचालकों की महती जिम्मेदारी है कि वे बच्चे को हर प्रकार से सुरक्षा मुहैया कराएं। कलेक्टर ने आगे कहा कि पालकगण विद्यालय के भरोसे अपने बच्चों को भेजते हैं। ऐसे में शाला प्रबंधक की महती जिम्मेदारी है कि वे बच्चों को सभी आवश्यक सुरक्षा मुहैया कराना सुनिश्चित करें। कलेक्टर ने कहा कि सभी विद्यालय सुप्रीम कोर्ट द्वारा जारी नियमों और निर्देशों का पालन करने के साथ-साथ इन्हें व्यावहारिक रूप से अमल में लाएं। कलेक्टर ने कहा कि पिछले 2 साल कोरोना काल के कारण शालाएं बंद की स्थिति में थे। अब इस शाला का सुचारू रूप से संचालन होने जा रहा है। ऐसे में शाला संचालन में गतिविधियां बढ़ेगी। शाला प्रबंधन की जिम्मेदारी है कि वे बच्चों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए पुख्ता इंतजाम अनिवार्य रूप से सुनिश्चित करें।
कलेक्टर श्री सिन्हा ने कहा कि स्कूली बच्चों को बस में चढ़ाने और उतारने के लिए एक निश्चित स्टॉपेज स्थान का निर्धारण करें। उन्होंने कहा कि ऐसे जगह का चिन्हांकन करें जो बच्चों के लिए सुरक्षित हो। उन्होंने कहा कि सभी स्कूलों स्कूली बसों के फिटनेस की जांच कराई जाएगी। इसके लिए आने वाले समय में आरटीओ विभाग के द्वारा स्कूल बसों की जांच की जाएगी।