चंडीगढ़: एनडीए के खिलाफ विपक्षी महागठबंधन इंडिया (I.N.D.I.A)को लेकर पंजाब की सियासी पार्टियों में खासा बवाल मचा हुआ है. चूंकि राज्य कांग्रेस ने इंडिया को लेकर अपना रुख स्पष्ट करते हुए कहा है कि भले ही कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने एनडीए के खिलाफ महागठबंधन के हिस्से के रूप में हाथ मिला लिया हो, मगर पंजाब में कांग्रेस का “आप” के साथ किसी तरह का गठबंधन नहीं होगा. कांग्रेस नेताओं का कहना है कि जिस पार्टी की सरकार ने उनके पूर्व उप मुख्यमंत्री सहित पांच पूर्व मंत्रियों को जेल में डाले हो, उसके साथ गठबंधन कैसा? वहीं, आम आदमी पार्टी के विपक्षी गठबंधन में शामिल होने को लेकर शिरोमणि अकाली दल और भाजपा ने कांग्रेस पर निशाना साधा है. उन्होंने दावा किया कि कांग्रेस और आप ने एक समझौता किया है और सबसे पुरानी पार्टी को अब पंजाब में “सरकारी पार्टी” कहा जाना चाहिए.
शिअद ने पंजाब विधानसभा अध्यक्ष को पत्र लिखकर कहा कि कांग्रेस सदस्यों की सीटें सत्ता पक्ष में स्थानांतरित कर दी जानी चाहिए. अकाली दल ने आप-कांग्रेस के विपक्षी गठबंधन को ‘अपवित्र विवाह’ बताया है. हालांकि पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष अमरेंद्र सिंह राजा वड़िंग ने कहा कि कांग्रेस ने हमेशा संवैधानिक मूल्यों की रक्षा और लोकतंत्र को बचाने के लिए लड़ाई लड़ी है. उन्होंने कहा कि हम अभी भी पंजाब में मुख्य विपक्षी दल हैं और हम जनता के मुद्दों पर आप सरकार के खिलाफ लड़ना जारी रखेंगे. राजा वड़िंग ने कहा कि जिस पार्टी की सरकार ने हमारे पांच पूर्व मंत्रियों के खिलाफ झूठे केस दायर कर उन्हें जेल भेजा, उससे किसी भी तरह का समझौता नहीं किया जा सकता.
कांग्रेस नेता प्रताप सिंह बाजवा ने कहा कि वे पंजाब में पार्टी कैडर और नेताओं के रुख के बारे में पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व को पहले ही सूचित कर चुके हैं. गौरतलब है कि दिल्ली में प्रशासनिक सेवाओं के नियंत्रण पर अध्यादेश पर कांग्रेस द्वारा अपना समर्थन देने के बाद ही आम आदमी पार्टी दिल्ली में विपक्षी दलों की बैठक के लिए बेंगलुरु आने पर सहमत हुई थी. बाजवा से जब आप के साथ गठबंधन की संभावना के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि राज्य इकाई आप के साथ हाथ नहीं मिलाएगी और उन्होंने दिल्ली में पार्टी नेतृत्व को अपने फैसले के बारे में सूचित कर दिया है
इस बीच शिरोमणि अकाली दल के नेता बिक्रम सिंह मजीठिया ने कहा कि पंजाब में पूर्ववर्ती कांग्रेस अब आधिकारिक तौर पर आप की एक शाखा है. इसलिए वे सरकार का हिस्सा हैं. मजीठिया ने पहले दोनों पार्टियों के बीच समझौते को “अपवित्र विवाह” कहा था. भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष सुनील जाखड़ ने भी कांग्रेस को सरकारी पार्टी की संज्ञा दी है और कहा कि अब कांग्रेस विपक्ष में नहीं रही.