Bangladesh Muhammad Yunus: बांग्लादेश में शेख हसीना (Sheikh Hasina) सरकार की तख्तापलट के बाद मोहम्मद युनूस के नेतृत्व में अंतरिम सरकार बन चुकी है। अंतरिम सरकार के चीफ बनने के बाद मोहम्मद युनूस ने पहली बार लोगों से मुखातिब हुए। इस दौरान शेख हसीना को ‘राक्षस’ (Rakshas) कहते हुए प्रदर्शनकारी छात्रों की जमकर तारीफ की। उन्होंने हिंसक प्रदर्शन में मारे गए छात्रों को श्रद्धांजलि देने के बाद कहा कि छात्रों के नेतृत्व में ऐसी क्रांति हुई, जिसने सरकार को पलट दिया। शेख हसीना को देश छोड़कर भागना पड़ा।
हालांकि इस दौरान मोहम्मद यूनुस ने स्वीकार किया कि पिछले एक महीने में हुए हिंसक प्रदर्शन और सियासी बदलाव के बाद अभी भी बांग्लादेश की स्थिति सामान्य नहीं हुई है। उन्होंने माना कि उनकी सरकार के सामने कई चुनौतियां है। पूरा सिस्टम ध्वस्त हो गया है। एक नई सरकार बनी है और हमें फिर से शुरुआत करनी है।
शेख हसीना भी लड़ सकती हैं चुनाव
वहीं, बांग्लादेश में जल्द चुनाव कराने की मांग की जा रही है। शेख हसीना के बेटे सजीब खुद ने चुनाव में अवामी लीग पार्टी हिस्सा लेने की बात कही है। वहीं, यूनुस की अंतरिम सरकार में गृह विभाग के सलाहकार सखावत हुसैन ने भी बयान देते हुए कहा कि शेख हसीना अगर देश लौटकर फिर से राजनीति करती हैं तो उनको कोई दिक्कत नहीं है। हुसैन ने कहा कि हसीना को अवामी लीग को नए चेहरों के साथ पुनर्गठित करना चाहिए।
बांग्लादेश में पाकिस्तान के सरेंडर से जुड़ी मूर्तियां दंगाइयों ने तोड़ी
बता दें कि तख्तापलट के बाद फैली हिंसा (Bangladesh violence) में कट्टरपंथियों ने जमकर आतंक मचाया। कट्टरपंथियों मुस्लिमों के निशाने पर खासकर हिंदू समाज (hindu society) और राष्ट्रीय स्मारकों रहे। कट्टरपंथियों ने मुजीबनगर में स्थित 1971 शहीद मेमोरियल स्थल पर मौजूद मूर्तियों को तोड़ दिया।
27 जिलों में हिंदुओं का कत्लेआम और 54 मंदिरों को फूंका
बता दें कि बांग्लादेश के कट्टरपंथी मुस्लिम (fundamentalist muslim) ने देश के 27 जिलों में हिंदुओं का कत्लेआम किया। उनके घरों और प्रतिष्ठान को निशाना बनाया। वहीं घरों में लूटपाट करने के बाद आग के हवाले कर दिया। वहीं कट्टरपंथियों ने 50 से ज्यादा मंदिर फूंक दिए। पूरे देश में दंगाई आतंक का तांडव नृत्य किया। बांग्लादेश डेली स्टार की रिपोर्ट के मुताबिक, सोमवार की रात देश के 27 जिलों में हिंदुओं के घरों और दुकानों पर हमले किए। दंगाइयाें ने टोली या छोटे-छोटे झुंड बनाकर हिंदू बस्तियों पर धावा बोला। हिंदुओं के घरों में घुसकर लोगों को मारपीट कर बाहर निकाला। पूरा सामान लूटने के बाद आग के हवाले कर दिया। विरोध करने वाले हिंदुओं को पीट-पीट कर मौत के घाट उतार दिया था।