नई दिल्ली। हरियाणा की यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा (Jyoti Malhotra) से एनआईए और आईबी की पूछताछ जारी है। पहलगाम आतंकी हमले में भी उसका हाथ हो सकता है। इस एंगल से जांच जारी है।
अधिकारियों को कुछ कड़ियां जुड़ती दिख रही हैं, क्योंकि ज्योति के खिलाफ कुछ पुख्ता सबूत मिले हैं। पता चला है कि मार्च में आखिरी बार ज्योति मल्होत्रा पाकिस्तान हाई कमीशन के अधिकारी दानिश से मिली थी। उसके बाद चैट होती रहती थी।
अयोध्या धाम, उत्तराखंड, वाराणसी, बिहार और उज्जैन भी पहुंची
- ज्योति मल्होत्रा का अयोध्या, उत्तराखंड, वाराणसी और उज्जैन से भी संबंध उजागर हुआ है। उसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर हुआ, जिसमें वो श्रीराम मंदिर सहित अन्य प्रमुख स्थानों के बारे में वह जानकारी साझा करती दिखाई पड़ रही है।
- साथ ही उसके यूट्यूब चैनल पर श्रीकाशी विश्वनाथ धाम, दशाश्वमेध समेत विभिन्न गंगा घाटों, गंगा आरती, यहां की गलियों, खान-पान की दुकानों आदि के वीडियो अपलोड हैं। जांच के लिए दिल्ली से एक टीम काशी भी गई थी।
- साल 2024 में वो उज्जैन आई थी। उसने महाकाल मंदिर सहित कई स्थलों के वीडियो बनाए, लेकिन उन्हें यूट्यूब पर अपलोड नहीं किया। वह बदरीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री व कैंचीधाम भी आ चुकी है।
बांग्लादेश के वीजा के लिए आवेदन
ज्योति ने बांग्लादेश के वीजा के लिए आवेदन किया था। वीजा एप्लीकेशन फॉर्म पर तारीख नहीं है। जांच अधिकारियों मानना है कि ज्योति की यात्रा वीडियो शूट के बहाने बांग्लादेशी ऑपरेटिव के साथ जुड़ने के लिए थी।
आशंका है कि पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई जासूसी का बांग्लादेश मॉड्यूल खड़ा कर रही है। इसमें भारत में सक्रिय उनके जासूसों को इसके ऑपरेटर से जोड़ा जा रहा है।
रिमांड अवधि पूरी होने के बाद गुरुवार को पुलिस ज्योति को अदालत में पेश करेगी। इसके बाद पुलिस या जांच एजेंसी उसे रिमांड पर ले सकती है। पुलिस प्रशासन का कहना है कि अभी तक मोबाइल और लैपटाप के डाटा की रिपोर्ट नहीं आई है।