राजनांदगांव(दैनिक पहुना)। कहते हैं देहदान से बड़ा कोई दान नहीं। अभी तक हम मरणोपरांत देहदान के उदाहरण सुनते आए हैं। लेकिन कोविड महामारी के दौर में जब दुनिया में लाखों लोग मर रहे हैं, वैज्ञानिक दवा व टीका बनाने में लगे हैं, उन्हें इनके ट्रायल के लिए जीवित मानव शरीर की आवश्यकता है। ऐसे में मानव जाति के कल्याण व सेवा की भावना के साथ यह शरीर मरोणोपरान्त किसी के काम आवे यह सोचकर मै मोतीलाल साहू ग्राम चमारराय टोलागांव तह० डोगरगांव, राजनांदगांव अपने परिवार से सहमति लेकर मरोणोपरान्त मेडिकल कॉलेज राजनांदगांव को घोषणा पत्र भरकर प्रेषित किया हूँ ।ताकि प्रशिक्षत डॉक्टरों को इस शरीर से शिक्षा प्राप्त कर सके व जिनको आँख , किडनी वगैरह की जरूरत हो तो वह अपने उपयोग में डॉक्टर के परामर्श से ले सकते है । यह जानकारी एक विज्ञप्ति के माध्यम से जगदीश साहू चिखली द्वारा दी गई ।