पिथौरा. राष्ट्रीय विज्ञान दिवस पर संस्कार शिक्षण संस्थान एवं छत्तीसगढ़ विज्ञान सभा पिथौरा के संयुक्त तत्वावधान में शासकीय कन्या अंग्रेजी मिडिल विद्यालय पिथौरा में वैज्ञानिक जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया. कार्यक्रम में अंधविश्वास को चुनौती देते हुए वैज्ञानिक दृष्टिकोण को बढ़ावा देने का संदेश दिया गया.
कार्यक्रम में छात्रों ने वैज्ञानिक चमत्कारों का प्रदर्शन कर यह दिखाया कि अंधविश्वास को तर्क और विज्ञान के माध्यम से कैसे खारिज किया जा सकता है. इसके अलावा, विज्ञान गीत, कविता, व्याख्यान और विज्ञान प्रदर्शनी के माध्यम से बच्चों ने समाज में वैज्ञानिक सोच विकसित करने का संदेश दिया.
विज्ञान के युग में वैज्ञानिक दृष्टिकोण अपनाने की आवश्यकता : देवेश निषाद
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि देवेश निषाद (नगर पंचायत अध्यक्ष, पिथौरा) ने संबोधित करते हुए कहा कि आज का युग विज्ञान का युग है. हमें अंधविश्वास से दूर रहकर वैज्ञानिक दृष्टिकोण अपनाने की आवश्यकता है. समाज में व्याप्त टोने-टोटके और झाड़-फूंक जैसी कुरीतियां विकास में बाधक हैं, इन्हें समाप्त कर वैज्ञानिक समाज का निर्माण करना होगा.
वहीं, छत्तीसगढ़ विज्ञानसभा के प्रेस सचिव हेमंत खूंटे ने कहा कि अंधविश्वास के उन्मूलन से ही एक प्रगतिशील और तार्किक समाज की स्थापना हो सकती है.
कार्यक्रम के दौरान सीमा गौरव चंद्राकर ने वैज्ञानिक चमत्कार प्रस्तुत किए और यह बताया कि कई बार जो चीजें हमें चमत्कार लगती हैं, वे वास्तव में विज्ञान की देन होती हैं. उन्होंने छात्रों को विज्ञान का प्रयोग करके तथ्यों की जांच करने और अंधविश्वासों से बचने का संदेश दिया.
कार्यक्रम को गोपाल शर्मा, अंतर्यामी प्रधान और नरेश नायक ने भी संबोधित किया. सभी वक्ताओं ने समाज में वैज्ञानिक सोच को अपनाने और अंधविश्वास के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने की अपील की. वहीं इस कार्यक्रम में पिथौरा ब्लॉक के विभिन्न विद्यालयों के छात्रों को उनके वैज्ञानिक उत्कृष्टता प्रदर्शन के लिए सम्मानित किया गया.